Archive for April, 2011

माँ

Saturday, April 23rd, 2011

हे क्षीर-स्त्रोत्री ! तुम ही गुरु सखा मेरी अन्तर्प्रज्ञा हो माँ ! जब नन्हे से दो होंठ जुड़े फूटा अस्फुट प्रथम स्वर मां ! बाल-कलोल नटखट बाल-हठ पर लाड़ से लिपटाया तुमने माँ ! चेहरा पढ मन जाना कामधेनु सी इच्छाएं की पूर्ण तुमने माँ ! तन के फटने मन के टूटने पर तुरपाई कर […]

दालमेंकाला

Wednesday, April 13th, 2011

रेशु को आज पल भर की भी फुर्सत नहीं थी|सजे हुए घर को नए सिरे से सजाए जा रही थी |घर पुराना ही सही लेकिन काफ़ी बड़ा था|वैसे भी इसे वो इतने करीने से सजाती-सँवारती थी, कि आने वाले आगुंतक एकबारगी उसकी कलात्मक अभिरुचि और कला-प्रेम की झलक उस सजावट में देखकर उसकी भूरी-भूरी प्रशँसा […]

हजारे के हाथ ,हम हैं साथ्!

Thursday, April 7th, 2011

समाज-सेवी अन्ना हजारे ने जो मुहिम छेड़ा है ,वह हम और आप सब के मन की आवाज़ है|भ्रष्टाचार के ख़िलाफ हम भी आवाज़ उठाना चाहते हैं| आज से नहीं सालों से|लेकिन चुपचाप घर में बैठ जाते हैं , रोकर या कुढ-कुढ़कर बस अपने चार पहचान के लोगों से बातें करके मन की भड़ास निकाल लेते […]