एक दिया ऐसा जलाओ

एक दिया ऐसा जलाओ

अंतर्तम प्रकाशित कर दे जो

मुर्दा जीवन में सांसो का संचार

करे जो ,एक दिया ऐसा भी हो।

एक दिया समान भाव जगाए

भेद भरी दुनिया से हटाए जो

अंधेरी रात के बाद सवेरा होगा

एक दिया हर पल याद दिलाए जो।

मानवता के रक्षक चंद बचे इंसानों

के लिए जले एक दिया वह भी हो ।

जो जीवन में टूट चुके हैं उनको

हिम्मत देता रहे, एक दिया ऐसा भी हो।

जिनका विश्वास खो गया है

एक दिया उस राह में भी हो।

अंधकार का जड़ समूल विनाश करे

एक दिया प्रज्वलित ऐसा भी हो।

जगमग तारों सा देदीप्यमान

हर घर में दमके, एक दिया ऐसा भी हो।

एक दिया ऐसा जलाओ

जिनके घर में दिया नहीं

वहां दीवाली कर दे जो।।

वीणा विज’उदित’

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

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